क्या कहूँ मैं इसे ???
तेरी इनकार भी आज मुझे इकरार लगती है
तेरी हर हँसी भी आज मुझे प्यार लगती है
तेरे होंठ भले कुछ ना कह रहे हों मुझसे पर
तेरी धड़कन तेरे दिल की बातें बयाँ करती है
अब बता तू ही, कैसे यकीन मैं दिलाऊँ तुझे??
कह दे तू ही मुझे, अब क्या इसे नाम दूँ???
प्यार कहूँ इसे या फिर इसे तेरा नाम दूँ???
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